चंडीगढ़, पंजाब, नगर संवाददाता: मोहाली अंतरराष्ट्रीय हॉकी स्टेडियम का नाम मंगलवार को यहां आधिकारिक रूप से महान खिलाड़ी बलबीर सिंह सीनियर के नाम पर रख दिया गया जो उनकी पहली पुण्यतिथि के मौके पर किया गया।
तीन बार के ओलंपिक स्वर्ण पदकधारी महान खिलाड़ी का 96 वर्ष की उम्र में पिछले साल 25 मई को निधन हो गया था और उनकी पुण्यतिथि के मौके पर आधिकारिक रूप से स्टेडियम का नाम बदलने की घोषणा की गयी।
पंजाब के खेल मंत्री राणा गुरमीत सिंह सोढ़ी ने कहा, ‘‘पद्म श्री बलबीर सिंह सीनियर की मंगलवार को पहली पुण्यतिथि के मौके पर मोहाली अंतरराष्ट्रीय हॉकी स्टेडियम को आधिकारिक समारोह में इस महान खिलाड़ी की याद में समर्पित किया गया है। ‘‘
सोढ़ी ने कहा कि अब स्टेडियम को ‘ओलंपियन बलबीर सिंह सीनियर अंतरराष्ट्रीय हॉकी स्टेडियम’ के नाम से जाना जायेगा।
उन्होंने कहा कि कोविड-19 के हालात जब सामान्य हो जायेंगे तो सरकार की योजना इस स्टेडियम में एक अंतरराष्ट्रीय हॉकी टूर्नामेंट आयोजित करने की है।
इस मौके पर दिवंगत बलबीर सिंह सीनियर का पोता कबीर सिंह मौजूद था।
सोढ़ी ने यह भी कहा कि खेल विभाग बलबीर सिंह सीनियर के नाम पर एक छात्रवृत्ति भी शुरू करेगा जो राज्य के बेहतरीन खिलाड़ी को दी जायेगी।
उन्होंने कहा कि इस महान हॉकी खिलाड़ी की एक मूर्ति भी स्टेडियम के प्रवेश द्वार पर लगायी जायेगी।
पंजाब के मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह ने भी इस महान खिलाड़ी को याद करते हुए ट्वीट किया, ‘‘महान हॉकी खिलाड़ी पद्म श्री बलबीर सिंह सीनियर को दिल से याद करें। उनकी पहली पुण्यतिथि पर आज मोहाली अंतरराष्ट्रीय हॉकी स्टेडियम उन्हें समर्पित किया गया। वह तीन बार के ओलंपिक स्वर्ण पदक विजेता और 1975 विश्व कप विजेता टीम के मैनेजर और मुख्य कोच थे। ‘‘
बलबीर सिंह सीनियर के ओलंपिक के पुरूष हॉकी फाइनल में सबसे ज्यादा गोल करने का विश्व रिकार्ड अब तक कोई नहीं तोड़ सका है। उन्होंने 1952 हेलसिंकी ओलंपिक के स्वर्ण पदक मैच में नीदरलैंड पर भारत की 6-1 से जीत के दौरान पांच गोल दागे थे। उन्हें 1957 में पद्म श्री से नवाजा गया था।