सोहना, नगर संवाददाता: राष्ट्रीय पक्षी मोरों का जीवन खतरे में है। पिछले 15 दिनों में कई मोरों की संदिग्ध मौत हो चुकी है। सिलसिलेवार हो रही मोरों की मौत को लेकर किसान चितित दिखे। चितित किसानों ने मोरों का जीवन बचाने के लिए वन्य जीव-जंतु विभाग के स्थानीय अधिकारियों को खबर दी। विभाग की ओर से दो सदस्य टीम घटना-स्थल पर पहुंची। विभाग की टीम ने मोरों की मौत की वजह जानने के लिए मौके पर मिले मोरों के अवशेष व पंखों का सैंपल लेकर लैब में भेज दिया है। दौहला रोड स्थित बरसाती नाले के पास कई मोर मृत मिले। इनकी सूचना मिलते ही वन्य जीव-जंतु विभाग को दी गई थी।
बता दें कि सोहना-दौहला रोड पर बरसाती नाले के आसपास 50 से 60 फुट ऊंचाई वाले पेड़ हैं। बरसाती नाले की गहराई पांच से छह फीट है। इन पेड़ों पर भारी संख्या में मोरों ने बसेरा किया हुआ है। किसान कुलदीप शिवकुमार ने बताया कि उक्त नाले के पेड़ों पर मोरों ने वास किया हुआ है। पिछले कई दिनों में पेड़ों के नीचे कई मोर मृत पाए गए हैं। सिलसिलेवार मोरों की मौत को लेकर उन्होंने विभाग के अधिकारियों को सूचित किया। मोरों की मौत को लेकर अभी कुछ सही आंकलन नहीं लगाया जा सकता है। अनुमान है कि आजकल किसान खेतों में गेंहू व अन्य फसल की बिजाई में जुटे हैं। फसल की बिजाई के दौरान किसान कई तरह की कीटनाशक दवा व फसल में छिड़काव का प्रयोग कर रहे हैं। सही कारण लैब में जांच के बाद ही पता चल पाएगा।