शराबबंदी के बावजूद गुजरात में 11 फीसद लोग पीते हैं शराब

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नई दिल्ली/नगर संवाददाताः पंजाब नशे के लिए चाहे जितना बदनाम हो, लेकिन शराब पीने के मामले में यह शीर्ष पर नहीं। देश के सबसे बड़े स्वास्थ्य सर्वेक्षण ने पाया है कि इस मामले में 17 दूसरे राज्य पंजाब से आगे हैं। उधर, गुजरात में लंबे समय से शराब बंदी के बावजूद यहां 11 फीसदी पुरुष नियमित शराब पीते हैं। जबकि जम्मू-कश्मीर में कोई प्रतिबंध नहीं होने के बावजूद यहां इसका सेवन देश में सबसे कम है। देश में इस समय 29 फीसदी पुरुष शराब पीते हैं। लेकिन शराब के नुकसान को लेकर लोगों में जागरुकता आ रही है और राष्ट्रीय स्तर पर पिछले नौ साल में इस लिहाज से लगभग तीन फीसदी कमी आई है। मद्यपान के मामले में सबसे आगे तेलंगाना है, जहां 61 फीसदी पुरुष शराब पीते हैं। इस लिहाज से पंजाब का स्थान बेहद नीचे 18वें पायदान पर दिखाई देगा। यहां 34 फीसदी पुरुष शराब पीते हैं। खास बात है कि पिछले नौ साल में यहां इस लिहाज से नौ फीसदी कमी दर्ज की गई है, जबकि इस दौरान देश के 11 राज्यों में यह औसत उल्टा बढ़ गया है। ये आंकड़े चौथे राष्ट्रीय पारिवारिक स्वास्थ्य सर्वेक्षण (एनएफएचएस-4) के तहत देश के छह लाख परिवारों में लगभग एक साल तक चले सर्वेक्षण के बाद आए हैं। इसके लिए वर्ष 2015 के दौरान आंकड़े लिए गए थे। बिहार में इसके बाद शराब पर पाबंदी लगी है। जबकि गुजरात में लंबे अरसे से शराब की बिक्री पर ना सिर्फ पाबंदी है, बल्कि नकली शराब बनाने वालों को फांसी तक की सजा का प्रावधान है। इसके बावजूद यहां 11.1 फीसदी पुरुष धड़ल्ले से शराब पीते हैं। उधर, जम्मू-कश्मीर में सबसे कम 10.5 फीसदी पुरुष शराब का सेवन करते हैं। यहां इसकी बिक्री और सेवन पर पाबंदी तो नहीं, मगर कश्मीर में इसका चलन बहुत कम है। उत्तर-पूर्व के राज्यों में इस लिहाज से स्थिति बेहद खराब है। नगालैंड में शराब पर घोषित तौर पर पूर्ण पाबंदी होने के बावजूद यहां 39 फीसदी लोग शराब पीते हैं। मणिपुर में कुछ जिलों में प्रतिबंध है जबकि मिजोरम में इस दौरान शराब की बिक्री पर प्रतिबंध हटा लिया गया है। उधर, केरल पिछले दो वर्षो से शराब की बिक्री को कम करने की नीति चला रहा है। पिछले नौ साल के दौरान जिन राज्यों में शराब का सेवन करने वालों का प्रतिशत बढ़ा है, उनमें छत्तीसगढ़, गोवा, हिमाचल प्रदेश, झारखंड, कर्नाटक, मिजोरम, नगालैंड, सिक्किम, तेलंगाना, तमिलनाडु और त्रिपुरा शामिल हैं। त्रिपुरा में तो पिछले नौ साल के दौरान 17 फीसदी की भारी-भरकम बढ़ोतरी दर्ज की गई है। अब यहां 58 फीसदी पुरुष शराब पीते हैं। इसी तरह हिमाचल प्रदेश में दूसरी सबसे ज्यादा 10 फीसदी की बढ़त दर्ज की गई है। जिन राज्यों में शराब का सेवन करने वालों में सबसे ज्यादा कमी आई है, उनमें बिहार, दिल्ली, गुजरात, केरल, महाराष्ट्र, पंजाब, राजस्थान और पश्चिम बंगाल शामिल हैं। इस दौरान शराब पीने वाली महिलाएं 2.2 प्रतिशत से घट कर 1.2 प्रतिशत रह गई हैं।

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